गुणोत्तर श्रेणी की परिभाषा , सूत्र , प्रकार तथा महत्वपूर्ण प्रश्नोतरी | PDF Download |

गुणोत्तर श्रेणी की परिभाषा , सूत्र , प्रकार तथा महत्वपूर्ण प्रश्नोतरी | PDF Download |

इस लेख में हमारे द्वारा गुणोत्तर श्रेणी की परिभाषा , सूत्र , प्रकार तथा महत्वपूर्ण प्रश्नोतरी दिए गए है जो कक्षा 10 तथा 11 एवं 12 के लिए अतिमहत्वपूर्ण है | कक्षा 11,12 NCERT के लिए तो यह लेख बहुत ही फायदेमंद है | आप हमे नीचे comment करके बता सकते है कि आपको यह लेख कैसा लगा |

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श्रेढ़ी ( श्रेणी ) क्या है / श्रेढ़ी ( श्रेणी ) किसे कहते है ( What is Progression ) :-

कोई भी श्रेढ़ी एक ऐसा अनुक्रम होती है जो कुछ विशेष गणितीय नियमों का पालन करती है तो उसे श्रेणी कहते है |
जैसे :- लगातार दो पदों का अंतर समान या अचर हो
लगातार दो पदों का अंतर सर्वदा अचर हो
लगातार पदों का व्युत्क्रम समान हों
उदाहरण :- 2,4,6,8 ..................

श्रेणी के प्रकार ( Types of Progression ) :-

गणितीय विशेषज्ञों के अनुसार श्रेढ़ी के मुख्यतः तीन प्रकार होते हैं हैं जो निम्न प्रकार है -
1. समांतर श्रेणी ( Arithmetic Progression )
2. गुणोत्तर श्रेणी ( Geometric Progression )
3. हरात्मक श्रेणी ( Harmetric Progression )

इस लेख में हम केवल गुणोत्तर श्रेणी का ही अध्धयन करेंगे |

गुणोत्तर श्रेणी ( Geometric Progression ) क्या है / गुणोत्तर श्रेणी किसे कहते है :-

गुणोत्तर श्रेणी की परिभाषा के अनुसार , वह श्रेणी जिसमे प्रथम पद को छोड़कर , हर अगला पद अपने पिछले पद से अचर अनुपात में बढता है तो इस प्रकार की श्रेणी को गुणोत्तर श्रेणी कहते है

उदहारण :- (1) 2,4,8,16 ................

(2)
1 / 9
,
-1 / 27
,
-1 / 81
,
-1 / 243
...........

गुणोत्तर श्रेणी को संक्षेप में G.P. कहते है तथा इसका विस्तारित रूप ( Full Form ) Geometric Progression होता है |

गुणोत्तर श्रेणी की प्रत्येक संख्या एक पद ( term ) कहलाता है |

G.P की full form ( Full form of G.P. ) :-

G.P = Geometric Progression ( गुणोत्तर श्रेणी )

गुणोत्तर श्रेणी का प्रथम पद ( First term of G.P. ) :-

गुणोत्तर श्रेणी की सूची की प्रथम संख्या G.P. का प्रथम पद कहलाता है इसी प्रकार दूसरी संख्या , दूसरा पद तथा तीसरी संख्या , तीसरा पद कहलाता है | प्रथम पद को a से व्यक्त करते है |
उदहारण :- 2,4,8,16 .............

प्रथम पद a = 2
दूसरा पद a2 = 4
तीसरा पद a3 = 8 आदि |

गुणोत्तर श्रेणी का सार्व अनुपात ( Common Ratio of G.P. ) :-

गुणोत्तर श्रेणी में प्रथम पद को छोड़कर , हर अगला पद अपने पिछले पद से अचर अनुपात में बढ़ता है | यही अचर अनुपात गुणोत्तर श्रेणी का सार्व अनुपात कहलाता है | सार्व अनुपात को r से व्यक्त किया जाता है सार्व अनुपात धनात्मक , ऋणात्मक हो सकता है |
सार्व अनुपात का मान प्रत्येक स्थिति में समान प्राप्त होता है |
माना कोई गुणोत्तर श्रेणी है जिसके पद निम्न प्रकार है - a1,a2,a3,a4 ------------

सार्व अनुपात (r) =
a2 / a1
=
a3 / a2
=
a4 / a3
...........

गुणोत्तर श्रेणी का व्यापक रूप ( General term of a G.P. ) :-

a,ar,ar2,ar3, ............... arn - 1 जहाँ प्रथम पद = a
सार्व अनुपात = r
पदों की संख्या = n
इसे ही गुणोत्तर श्रेणी का व्यापक रूप / मानक रूप कहते है |

गुणोत्तर श्रेणी के प्रकार ( Types of a G.P. ) :-

गुणोत्तर श्रेणी मुख्यतः दो प्रकार की होती है
जिनका उदाहरण सहित वर्णन निम्न प्रकार है -

परिमित गुणोत्तर श्रेणी ( Finite G.P. ) :-

वह गुणोत्तर श्रेणी जिसमें पदों की संख्या परिमित ( Finite ) हो , उसे परिमित गुणोत्तर श्रेणी कहते है |
इस श्रेणी का एक निश्चित अंतिम पद होता है |
परिमित गुणोत्तर श्रेणी का व्यापक रूप - a,ar,ar2,ar3, ............... arn - 1

अपरिमित गुणोत्तर श्रेणी ( Infinite G.P. ) :-

वह गुणोत्तर श्रेणी जिसमें पदों की संख्या परिमित ( Infinite ) हो , उसे अपरिमित गुणोत्तर श्रेणी कहते है |
इस श्रेणी का अंतिम पद नही होता है |
अपरिमित गुणोत्तर श्रेणी का व्यापक रूप - a,ar,ar2,ar3, ............... arn - 1, ............

गुणोत्तर श्रेणी का n वां पद का सूत्र ( nth term of a G.P. ) :-

यदि किसी गुणोत्तर श्रेणी का प्रथम पद a तथा सार्व अनुपात r हो तो उसका n वां पद निम्न सूत्र से ज्ञात किया जाता है |
an = arn - 1
यहाँ a = प्रथम पद
r = सार्व अनुपात
n = पदों की संख्या
an = गुणोत्तर श्रेणी के n वें पद को an या Tn से व्यक्त करते है | an को गुणोत्तर श्रेणी का व्यापक पद भी कहा जाता है |

गुणोत्तर श्रेणी के प्रथम n पदों का योगफल का सूत्र ( Sum to n terms of a G.P. ) :-

किसी गुणोत्तर श्रेणी के n पदों का योग S निम्न सूत्रों से प्राप्त होता है -

Sn = a [
1 - rn / 1 - r
] जहाँ r < 1 तथा r ≠ 1
Sn = a [
rn - 1 / r - 1
] जहाँ r > 1 तथा r ≠ 1

यहाँ a = प्रथम पद
r = सार्व अनुपात
n = पदों की संख्या
Sn = G.P. के n पदों का योग

गुणोत्तर श्रेणी के अनंत पदों का योग का सूत्र :-

माना कि कोई गुणोत्तर श्रेणी जिसका प्रथम पद a तथा सार्व अनुपात r है तथा यह श्रेणी अनंत गुणोत्तर श्रेणी है -
a,ar,ar2,ar3, ...............

तब G.P. के अनंत पदों का योग -

S =
a / 1 - r

गुणोत्तर माध्य का सूत्र ( Geometric Mean ) :-

माना a , G , c तीनों एक G.P. बनाते है तब

गुणोत्तर माध्य ( G ) = ab

उदाहरण :-
2 तथा 8 का गुणोत्तर माध्य - G = 2 x 8 = 4

समांतर माध्य तथा गुणोत्तर माध्य के बीच सम्बन्ध ( Relation between A.M. and G.M. ) :-

माना कि दो धनात्मक संख्याओं a तथा b के बीच क्रमश: समांतर माध्य A.M. तथा गुणोत्तर माध्य G.M. है -
तब समांतर माध्य A.M. = (a + b)/2
गुणोत्तर माध्य G.M. = ab

इस प्रकार

A.M. - G.M. = =
( a - b )2 / 2
≥ 0

अत: हम कह सकते है कि - A.M. ≥ G.M.

गुणोत्तर श्रेणी के सभी सूत्र ( G.P. all formulas ) :-

1. गुणोत्तर श्रेणी का प्रथम पद = a
सार्व अनुपात = r
पदों की संख्या = n
n वां पद ( अंतिम पद ) = an या Tn
n पदों का योग = Sn


2. सार्व अनुपात (r) =
a2 / a1
,
a3 / a2
,
a4 / a3
, ...........

3. गुणोत्तर श्रेणी का व्यापक रूप ( General term of a G.P. ) :- a,ar,ar2,ar3, ............... arn - 1


4. n वां पद -
an = arn - 1


5. n पदों का योग -

Sn = a [
1 - rn / 1 - r
] जहाँ r < 1 तथा r ≠ 1
Sn = a [
rn - 1 / r - 1
] जहाँ r > 1 तथा r ≠ 1

6. G.P. के अनंत पदों का योग

S =
a / 1 - r

7. समांतर माध्य A.M. =
a + b / 2

8. गुणोत्तर माध्य G.M. = ab


9. समांतर माध्य तथा गुणोत्तर माध्य के बीच सम्बन्ध ( Relation between A.M. and G.M. ) :-
A.M. ≥ G.M.

गुणोत्तर श्रेणी से सम्बंधित प्रश्न उत्तर ( G.P. Question and Answer ) / गुणोत्तर श्रेणी के सवाल :-

1. गुणोत्तर श्रेणी 5 , 25 , 125 , ............ का 10 वां पद तथा n वां पद ज्ञात कीजिए ?

प्रथम पद ( a ) = 5

सार्व अनुपात ( r ) =
a2 / a1
=
25 / 5
= 5

पदों की संख्या ( n ) = 10

सूत्र से -

an = arn - 1

10 वां पद :-

a10 = (5)(5)10 - 1

a10 = 5(5)9

a10 = (5)10

n वां पद :-

an = arn - 1

an = (5)(5)n - 1

an = (5)n

2. गुणोत्तर श्रेणी 2 , 8 , 32 ............... का कौनसा पद 131072 है ?

प्रथम पद ( a ) = 2

सार्व अनुपात ( r ) =
a2 / a1
=
8 / 2
= 4

माना G.P. का n वां पद an = 131072

सूत्र से -

an = arn - 1

131072 = (2)(4)n - 1

48 = 4n - 1

अत: हम कह सकते है कि -

n - 1 = 8

n = 9

अर्थात् दी गई G.P. का 9 वां पद 131072 है

3. गुणोत्तर श्रेणी 6 , 36 , 216 , ........ के 5 पदों का योगफल ज्ञात कीजिए

प्रथम पद a = 6

सार्व अनुपात ( r ) =
a2 / a1
=
36 / 6
= 6 { यहाँ r > 1 }

पदों की संख्या (n) = 5

पदों के योग सूत्र से -

Sn = a [
rn - 1 / r - 1
]
5 पदों का योग S5 = 6 [
65 - 1 / 6 - 1
]
S5 = 6 [
7776 - 1 / 5
]
S5 = 6 [
7775 / 5
]
S5 = 9330

4. यदि दो धनात्मक संख्याओं a तथा b के बीच समांतर माध्य तथा गुणोत्तर माध्य क्रमशः 10 तथा 8 है तो संख्याएँ ज्ञात कीजिए ?

समांतर माध्य A =
a + b / 2
10 =
a + b / 2
a + b = 20 ........(1)
गुणोत्तर माध्य G.M. = ab
8 = ab
ab = 64 ...........(2)
हम जानते है कि -
(a-b)2 = (a+b)2 - 4ab
(a-b)2 = (20)2 - 4(64)
(a-b)2 = 144
(a-b)2 = 144
(a-b) = +12 .........(3)
समीकरण (1) व (2) को हल करने पर

a = 4 तथा b = 16
या a = 16 तथा b = 4

गुणोत्तर माध्य का सूत्र :-

G.M. = ab

गुणोत्तर श्रेणी meaning in English :-

Geometric Progression

✹ इन्हें भी पढ़े :-

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